महाराष्ट्र के नागपुर में पिछले कुछ दिनों से लगातार मुर्गियों की मौत हो रही है. खुद सरकार का हैचरी केंद्र इस परेशानी से जूझ रहा है. अब तक पोल्ट्री फॉर्म में 2650 से ज्यादा मुर्गियों की मौत हो चुकी है. इस जानकारी के बाद से अधिकारियों में हड़कंप है. पशु कल्याण विभाग की ओर से इसे एक नए संकट की दस्तक माना जा रहा है. मुर्गियों के सैंपल की जांच रिपोर्ट ने काफी हद तक इसकी पुष्टि भी कर दी है.
रिपोर्ट में सामने आया है कि नागपुर में राज्य सरकार के हैचरी केंद्र के पोल्ट्री फॉर्म पर मुर्गियों की मौत का कारण बर्डफ्लू है. रिपोर्ट आने के बाद पोल्ट्री फॉर्म की अन्य मुर्गियों के साथ अंडों को भी नष्ट करा दिया गया है. इसके अलावा आसपास के पोल्ट्री फॉर्मों से भी जांच के लिए नमूने लिए जा रहे हैं. इन सभी को पुणे और भोपाल की प्रयोगशालाओं में परीक्षण के लिए भेजा गया है. रिपोर्ट सामने आने के बाद नियमानुसार संबंधित पोल्ट्री फार्म के एक किमी क्षेत्र को प्रभावित और दस किमी क्षेत्र को निगरानी क्षेत्र घोषित कर दिया गया है.
रिपोर्ट में क्या आया सामने?
पुणे और भोपाल की लैब से मिली जानकारी में बताया गया कि मुर्गियों की मौत बर्डफ्लू यानी एवियन इन्फ्लुएंजा की वजह से हुई है. रिपोर्ट आने के बाद पोल्ट्री फार्म की अन्य 8501 मुर्गियों को भी मार दिया गया. इसके अलावा हैचरी सेंटर के 16 हजार से ज्यादा अंडे भी नष्ट करा दिए गए. नागपुर जिला पशुपालन उपायुक्त मंजूषा पुंडकिल के मुताबिक हर स्थिति पर नजर रखी जा रही है.
क्यों है इंसानों को खतरा
बर्डफ्लू यानी एवियन इन्फ्लुएंजा एक संक्रामक बीमारी है, जो पक्षियों से पक्षियों में फैलती है. अमेरिका के सेंटर फॉर डिसीज कंट्रोल के मुताबिक बर्ड फ्लू पालतू पक्षियों में जंगली पक्षियों से फैलता है जो सीधे श्वसन तंत्र पर अटैक करता है. इससे पक्षियों की मौत भी हो जाती है. इंसानों में ये आम वायरस की तरह ही फैलता है. WHO के मुताबिक जब कोई इंसान संक्रमित पक्षी के सीधे तौर पर संपर्क में आता है तो वह बर्ड फ्लू होने की संभावना बढ़ जाती है. इसका सबसे खतरनाक वैरिएंट H5N1 होता है. जिसके संक्रमित होने पर इंसानों की मौत तक हो सकती है.
नागपुर में अलर्ट, 21 दिन तक लगी रोक
मुर्गियों की सैंपल रिपोर्ट के बाद नागपुर जिला प्रशासन ने पूरे जिले को अलर्ट कर दिया है. सरकार के जिस पोल्ट्री फॉर्म में बर्ड फ्लू फैला है, उसके 1 किमी दायरे में वेटरनरी यूनिवर्सिटी का भी पोल्ट्री है. वहां से 260 मुर्गियों के मौत की जानकारी आई है. ऐसे में प्रशासन ने पशुपालन विभाग को मुर्गियों की खरीद और परिवहन पर रोक लगा दी है. जिलाधिकारी के आदेश पर एक टास्क फोर्स का भी गठन किया गया है.