इंदौर से कांग्रेस के पूर्व लोकसभा प्रत्याशी अक्षय कांति बम को हाईकोर्ट से बड़ा झटका लगा है। हत्या के कथित प्रयास के मामले में गिरफ्तारी वॉरंट को लेकर अक्षय कांति बम और उनके पिता को शुक्रवार को मध्यप्रदेश हाईकोर्ट से कोई राहत नहीं मिली। मामले में पिता-पुत्र की अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई टल गई। उच्च न्यायालय की इंदौर पीठ के न्यायमूर्ति प्रेमनारायण सिंह ने इस याचिका पर अगली सुनवाई के लिए 29 मई की तारीख तय की है।
सत्र न्यायालय ने बम (46) और उनके पिता कांतिलाल (75) के खिलाफ 10 मई को गिरफ्तारी वारंट जारी किया था। पुलिस के एक अधिकारी ने कहा कि इस वारंट के आधार पर गिरफ्तारी के लिए दोनों आरोपियों की तलाश जारी है। बम और उनके पिता की ओर से दायर पुनरीक्षण याचिका पर सत्र न्यायालय में शुक्रवार को सुनवाई होनी थी। अभियोजन विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि पिता-पुत्र के अधिवक्ता ने इस याचिका पर बहस के लिए सत्र न्यायालय से मोहलत मांगी जिसके बाद अदालत ने अगली सुनवाई के लिए पांच जुलाई की तारीख तय की है। पुनरीक्षण याचिका के जरिये पिता-पुत्र ने एक प्रथम श्रेणी न्यायिक मजिस्ट्रेट (जेएमएफसी) के उस आदेश को चुनौती दी है जिसके तहत उनके खिलाफ 17 साल पहले दर्ज प्राथमिकी में भारतीय दंड विधान की धारा 307 (हत्या का प्रयास) जोड़ी गई थी। जेएमएफसी ने जमीन विवाद को लेकर स्थानीय किसान यूनुस पटेल पर 2007 में कथित हमले के संबंध में बम और उनके पिता के खिलाफ दर्ज प्राथमिकी में यह धारा जोड़े जाने का आदेश 24 अप्रैल को दिया था। इस आदेश के महज पांच दिन बाद 29 अप्रैल को बम ने इंदौर के कांग्रेस उम्मीदवार के तौर पर अपना नाम वापस लेने का कदम उठाया था। वह इसके तुरंत बाद भाजपा में शामिल हो गए थे।