हरियाणा में बीजेपी अपने दम पर सरकार बनाने जा रही है. तीसरी बार लगातार राज्य में भगवा लहराया है. नायब सिंह सैनी एक बार फिर मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं. उन्हें विधायक दल का नेता चुना गया है. कल वो शपथ ग्रहण करेंगे. आज गृह मंत्री अमित शाह की मौजूदगी में बीजेपी विधायक दल की बैठक हुई, जिसमें उन्हें नेता चुना गया. हरियाणा प्रभारी केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान, सह-प्रभारी विप्लव देब, केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर भी बैठक में मौजूद रहे. अमित शाह और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव को इस बैठक के लिए बतौर केंद्रीय पर्यवेक्षक नियुक्त किया गया था. पंचकूला के बीजेपी ऑफिस में बैठक हुई.
बीजेपी के अनिल विज और राव इंद्रजीत सिंह ने भी सीएम पद पर दावेदारी ठोकी थी. लेकिन पार्टी ने एक बार फिर नायब सिंह सैनी को मुख्यमंत्री बनाने का फैसला लिया है. मीटिंग में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित किया गया. अनिल विज और मनोहर लाल खट्टर ने सैनी के नाम का प्रस्ताव रखा. बैठक में अमित शाह ने कहा कि ये बीजेपी की नीतियों की विजय है. बीजेपी के अलावा 80 के दशक के बाद किसी भी पार्टी का मुख्यमंत्री तीसरी बार चुनकर नहीं आया है.
नायब सिंह सैनी 12 मार्च 2024 को पहली बार हरियाणा के मुख्यमंत्री चुने गए थे. इससे पहले वो हरियाणा बीजेपी के अध्यक्ष थे. वह 2019 में सांसद चुने गए थे. उनके राजनीतिक सफर की अगर बात करें तो वो बीजेपी के प्रदेश महामंत्री, जिला महामंत्री और जिलाध्यक्ष के तौर पर भी काम कर चुके हैं. 2014 में सैनी नारायणगढ़ से विधायक बने और फिर 2016 में हरियाणा सरकार में राज्य मंत्री रहे. सैनी अंबाला के नारायणगढ़ से आते हैं.
शपथ ग्रहण की चल रही तैयारी
चुनाव के दौरान पंचकूला में खुद अमित शाह कह चुके थे कि नायब सिंह ही मुख्यमंत्री रहेंगे. 17 अक्टूबर की सीएम पद की शपथ की तैयारी भी हो रही है. अमित शाह ज्यादातर चुनावी राज्यों में संगठन से रणनीति तक पार्टी के पेंच दुरुस्त करने का दायित्व निभाते आए हैं. पार्टी में चाणक्य’ की भूमिका निभाते आए हैं, लेकिन इस बार अमित शाह जैसे दिग्गज नेता को पर्यवेक्षक बनाए जाने के बाद अटकलों का बाजार गर्म था. क्या पार्टी फिर से कोई सरप्राइजिंग फेस लाने की तैयारी में तो नहीं है?
बीजेपी को मिली हैं 48 सीटें
हरियाणा में बीजेपी ने प्रचंड बहुमत के साथ जीत हासिल की है. इस बार भगवा पार्टी पूर्ण बहुमत के साथ सत्ता में आई है. बीजेपी को 48 सीटों पर जीत हासिल हुई है, जबकि कांग्रेस के खाते में 37 सीटें गई हैं. इसके अलावा इंडियन नेशनल लोकदल ने दो सीटों पर विजय पताका फहराई है. इनोलो के उम्मीदवारों की कई सीटों पर जमानत जब्त हो गई. सूबे के चुनाव में 3 निर्दलीय उम्मीदवार भी जीतकर विधानसभा पहुंचे हैं. वहीं, आम आदमी पार्टी का खाता तक नहीं खुला है और उसके अधिकतर उम्मीदवार जमानत जब्त करा बैठे हैं.