मैहर। यूं तो वर्ष भर मां शारदा के दर्शन करने के लिए मध्य प्रदेश के अन्य राज्यों से भी लोग आते हैं, लेकिन इस बार नवरात्र में नवगठित जिला मैहर में धूम मचेगी। मैहर में उज्जैन के महाकाल लोक के तर्ज पर मां शारदा लोक बनाने की सीएम ने घोषणा की है, जिससे उत्साह का माहौल है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मां शारदा लोक का भूमि पूजन भी किया है। नवरात्र में सबसे सरल मार्ग के तौर पर मैहर रेलवे स्टेशन से ऑटो के माध्यम से मंदिर तक आसानी से पहुंचा जा सकता है।
सती के शरीर का यह अंग गिरा था यहां
सती के शरीर का जो हिस्सा और धारण किये आभूषण जहां-जहां गिरे वहां-वहां शक्ति पीठ बन गए। शक्तिपीठों की संख्या विभिन्न ग्रंथों में भिन्न-भिन्न बताई गई है। तंत्रचूड़ामणि में शक्तिपीठों की संख्या 52 बताई गयी है। देवीभागवत में 108 शक्तिपीठों का उल्लेख है, तो देवीगीता में 72 शक्तिपीठों का जिक्र मिलता है। देवीपुराण में 51 शक्तिपीठों की चर्चा की गयी है। परम्परागत रूप से भी देवीभक्तों और सुधीजनों में 51 शक्तिपीठों की विशेष मान्यता है।
सती का हार गिरा इसलिए नाम मैहर यानी मां का हार, पड़ गया
कहते हैं कि जब शिव मृत देवी माँ के शरीर ले जा रहे थे, उनका हार इस जगह पर गिर गया और इसलिए नाम मैहर यानी मां का हार, पड़ गया। दंत कथा है कि भगवती सती का उर्ध्व ओष्ठ यहां गिरा था।
जबलपुर स्टेशन 162 किलोमीटर मैहर से दूर स्थित है
मैहर अच्छी तरह से आवागमन के माध्यमों से जुड़ा हुआ है। यह दोनों प्रमुख माध्यम रेल मार्ग और सड़क मार्ग 30 एन एच (राष्ट्रीय राजमार्ग) से जुड़ा हुआ है। शारदा माता मंदिर मैहर रेलवे स्टेशन से 6 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। मंदिर तक आप जाने के लिए रोपवे का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। जबलपुर स्टेशन 162 किलोमीटर मैहर से दूर स्थित है।
निकटतम हवाई अड्डा जबलपुर का डुमना है
मैहर रेलवे स्टेशन पश्चिम मध्य रेलवे के कटनी और सतना स्टेशनों के बीच में स्थित है। नवरात्रि त्योहार के दौरान वहाँ श्रद्धालुओं की भारी भीड़ होती है। इसलिए इन दिनों के दौरान अप और डाउन के सभी ट्रेने यात्रियों की सुविधा के लिए मैहर में रूकती है । निकटतम हवाई अड्डा जबलपुर हैं। निर्माणाधीन रीवा में है जो 62 कि. मी.पर है।
कटनी और सतना के बीच ट्रेनों का आवागमन दिन भर
मैहर, कटनी जंक्शन और सतना जंक्शन के बीच स्थित है। दोनों जंक्शनों के मध्य कई ट्रेनों का आवागमन दिन भर रहता है। यहां दो बस स्टैंड है जिसमें से एक देवी मंदिर से करीब 1-1.5 किलोमीटर दूर स्थित है जहां से सतना जैसे बड़े शहरों के लिए बसों का आवागमन होता रहता है। दूसरा बस स्टैंड रेलवे स्टैंड के दूसरी ओर ( प्लेटफ्राम 2 के ओवर ब्रिज) से निकलने के बाद शहर की ओर से जाने वाले रास्ते में मुख्य सड़क के दाईं ओर करीब 1 किलोमीटर दूर है।