उज्जैन। दीपावली के अगले दिन सालों बाद सोमवती अमावस्या का संयोग बन रहा है। इस दिन शिप्रा व सोमकुंड में पर्व स्नान होगा। मान्यता है सोमवती अमावस्या पर सोमतीर्थ स्थित सोमकुंड में स्नान तथा भगवान सोमेश्वर महादेव के दर्शन पूजन से मनुष्य को अवश्वमेध यज्ञ करने के समान पुण्य फल प्राप्त होता है।
इस बार तिथियों की घट बढ़ के कारण दीपावली चतुर्दशी के दिन प्रदोष काल में मनाई जाएगी। पंचांगीय गणना के अनुसार 12 नवंबर को रविवार के दिन सुबह चतुर्दशी तथा शाम को प्रदोषकाल में अमावस्या तिथि रहेगी। 13 नवंबर सोमवार को सुबह सूर्योदय के समय तक अमावस्या तिथि होने से साेमवती अमावस्या का संयोग बन रहा है।
कार्तिक मास में तीर्थ स्नान का विशेष महत्व है। ऐसे में कार्तिक कृष्ण अमावस्या पर सोमवती का संयोग विशेष माना जा रहा है। इस दिन देशभर से श्रद्धालु शिप्रा व सोमकुंड में स्नान के लिए उज्जैन पहुंचेंगे। स्नान के उपरांत तीर्थ पर दान पुण्य तथा संध्या काल में दीपदान करेंगे।
सोमकुंड पर फव्वारों में होगा स्नान
सोमवती अमावस्या पर प्रशासन द्वारा सोमकुंड पर फव्वारे लगाए जाएंगे। श्रद्धालु फव्वारों में स्नान के उपरांत तीर्थ परिसर में स्थित श्री सोमेश्वर महादेव के दर्शन पूजन करेंगे। श्रद्धालुओं की सुरक्षा व पेयजल आदि के इंतजाम भी होंगे।