इंदौर। ज्योतिष शास्त्र में ग्रह और नक्षत्रों के प्रभाव के बारे में विस्तार से उल्लेख मिलता है। ज्योतिष शास्त्र में यह मान्यता है कि कोई भी मांगलिक कार्य ग्रह ग्रह और नक्षत्रों की शुभ घड़ी देखकर करने से कार्य में सफलता जरूर मिलती है। पंडित प्रभु दयाल दीक्षित के मुताबिक, वार और नक्षत्रों का यह शुभ संयोग ही सर्वार्थ सिद्धि योग कहलाता है।
कब बनता है सर्वार्थ सिद्धि योग
पंडित प्रभु दयाल दीक्षित के मुताबिक, वार और नक्षत्र का शुभ संयोग ही सर्वार्थ सिद्धि योग कहलाता है। सोमवार के दिन यदि रोहिणी, मृगशिरा, पुष्य, अनुराधा और श्रवण नक्षत्र हो तो इसका प्रभाव ज्यादा लाभदायक होता है। इसके अलावा यदि गुरुवार और शुक्रवार के दिन सर्वार्थ सिद्धि योग बनता है तो इस दिन कोई भी तिथि हो इस प्रभाव हितकारी ही होता है।
12 और 13 जनवरी को शुभ मुहूर्त
हिंदू पंचांग के अनुसार, सर्वार्थ सिद्धि योग 12 जनवरी को दोपहर 03:18 बजे से शाम 06:38 बजे तक रहेगा, वहीं इसके बाद 13 जनवरी को भी सर्वार्थ सिद्धि योग सुबह 06:38 बजे से दोपहर 12:49 बजे तक रहेगा। इस दौरान किसी भी नए कार्य की शुरुआत की जाती है तो इसमें व्यक्ति को सफलता मिलती है।
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