अब तक बोर्ड एग्जाम की परीक्षा कॉपियों में छात्रों के अजब-गजब अपील लिखी देखी गई हैं, लेकिन अब ग्रेजुएशन के छात्र भी पीछे नहीं हैं. नया मामला बिहार के आरा के वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय का है. यहां स्नातक तृतीय वर्ष की परीक्षा की कॉपियों का मूल्यांकन किया जा रहा है. इस दौरान उत्तर पुस्तिकाओं के मूल्यांकन के दौरान जांचने वाले परीक्षक हैरान हैं.
विश्वविद्यालय की ऑनर्स सब्जेक्ट की कॉपियों की जांच बाहर भेज कर कराई जा रही है, जबकि जीईएस की उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन विश्वविद्यालय स्तर पर ही कराया जा रहा है. परीक्षकों को उत्तर पुस्तिकाओं में हैरान करने वाले जवाब मिल रहे हैं. साथ ही परीक्षा देने वाले छात्रों ने कॉपियों में अजीब-अजीब गुहार लगाकर उन्हें पास करने की अपील की है.
परीक्षा कॉपियों में लगाई गई अजीब गुहार
मूल्यांकन के दौरान कॉपियों में अजब-गजब बातें भी लिखी सामने आ रही हैं. किसी ने अपनी मां की तबीयत ज्यादा खराब होने के कारण पढ़ाई नहीं कर पाने के चलते पास होने की गुहार लगायी है, तो किसी ने खुद की तबीयत गंभीर रूप से खराब होने की बात लिख कर पास करने की मांग की है. वैसे इस तरह का यह कोई पहला मामला नहीं है. पहले भी परीक्षा की कापियों के मूल्यांकन के समय कापियों पर कभी नोट चिपके मिलते रहे हैं, तो कभी परीक्षार्थी कुछ ऐसी अपील कर दिये रहे हैं, जिसे पढ़कर शिक्षक भी सोचने पर मजबूर होते रहे हैं.
मेरी बहुत सीरियस तबीयत खराब हो गयी थी…
जीईएस की एक कॉपी पर एक महिला परीक्षार्थी ने सवालों का जवाब देने के बाद कॉपी के अंत में अपनी तबीयत खराब होने की बात लिखी है. छात्रा ने लिखा है कि ‘मेरी बहुत सीरियस तबीयत खराब हो गयी थी. आपसे हाथ जोड़ कर विनती करती हूं कि आप हमको पास कर दीजिएगा. सारे प्रश्नों का उत्तर देने की कोशिश कर रही थी, लेकिन दे नहीं पायी. कृपया अच्छे नंबर देकर पास कर दीजियेगा’ परीक्षक के अनुसार इसके अलावा एक छात्र ने बढ़िया नंबर देने की मांग की है ताकि उसकी नौकरी लग सके. वहीं कुछ ने फर्स्ट डिविजन का नंबर देने की गुहार लगाई.