कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेड एंड हॉस्पिटल में भ्रष्टाचार के मामले में सीबीआई जल्द ही चार्जशीट दाखिल करेगी. इस मामले में सीबीआई ने पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष और आशीष पांडे को गिरफ्तार किया है. इस मामले में ईडी ने कोलकाता जेल में आरोपी डॉक्टर संदीप घोष के बयान दर्ज किए. ईडी जेल जाकर संदीप घोष का चार बार बयान दर्ज कर चुकी है.
ईडी ने जेल में डॉक्टर संदीप घोष के 8, 9,14 और 15 अक्टूबर को बयान दर्ज किए हैं. संदीप घोष के अलावा जेल में बंद दो अन्य आरोपियों के भी बयान दर्ज किये गये हैं. दोनों ही आरोपी संदीप घोष के करीबी हैं.
सीबीआई जल्द आरजी कर मेडिकल कॉलेज में हुए करप्शन के मामले में चार्जशीट दाखिल करने जा रही है. इस बीच ईडी की जांच भी इस मामले में मनी लांड्रिंग के एंगल से जारी है.
देबाशीष सोम-सुजाता घोष सीबीआई के रडार पर
इस बीच, आरजी कर में भ्रष्टाचार के मामले में डॉक्टर देबाशीष सोम और सुजाता घोष सीबीआई के रडार पर है. आरोप है कि दोनों वित्तीय घोटालों में सक्रिय रूप से शामिल हैं. सीबीआई ने स्वास्थ्य भवन से दोनों डॉक्टरों के खिलाफ कार्रवाई करने का अनुरोध किया था. स्वास्थ्य भवन ने सीबीआई के पत्र का जवाब दिया है.
दोनों डॉक्टरों पर किस तरह के भ्रष्टाचार के आरोप? स्वास्थ्य भवन ने इस बाबत सीबीआई से पूछा है. सुप्रीम कोर्ट में राज्य सरकार के हलफनामे में भी इस मुद्दे का जिक्र किया गया है.
आरजी कर मामले में आरजी कर के पूर्व निदेशक संदीप घोष को सीबीआई पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है और आशीष पांडे को गिरफ्तार किया जा चुका है. इस बार दो और डॉक्टर सीबीआई की रडार पर हैं. इन दोनों डॉक्टरों के खिलाफ कार्रवाई के लिए स्वास्थ्य भवन को भी सीबीआई की ओर से सूचित किया गया है. पत्र में संकेत दिया गया है कि सीबीआई भी अपनी जांच प्रक्रिया के बाद कार्रवाई कर सकती है.
सीबीआई ने स्वास्थ्य भवन को लिखा पत्र
बता दें कि लेडी डॉक्टर की मौत के मामले में सेमिनार कक्ष में देबाशीष सोम की उपस्थिति पर पहले भी सवाल उठाया गया था. भ्रष्टाचार मामले से लेकर लेडी डॉक्टर की हत्या के मामले तक उनका नाम बार-बार आता रहा है.
दूसरी ओर सुजाता घोष का नाम भी सामने आया है. 30 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान जूनियर डॉक्टरों के वकील ने कई तथ्य पेश किये. काउंटर स्टेट की ओर से राकेश द्विवेदी ने कहा कि अगर सीबीआई उन्हें सूचीबद्ध करेगी तो वे इस तरह की कार्रवाई करेंगे. इस बार सीबीआई ने सीधे स्वास्थ्य भवन से संपर्क किया. यह भी संकेत दिया गया है कि भविष्य में कई और डॉक्टरों के नाम भी सामने आ सकते हैं. अब देखते हैं सरकार क्या कदम उठाती है?