बजाज हाउसिंग फाइनेंस ने सितंबर तिमाही का रिजल्ट जारी कर दिया है, जिसमें कंपनी को शानदार प्रॉफिट हुआ है. बजाज का नेट प्रॉफिट 21 प्रतिशत बढ़कर 546 करोड़ रुपए पर पहुंच गया है. हाउसिंग फाइनेंस कंपनी ने एक साल पहले इसी तिमाही में 451 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ दर्ज किया था. कंपनी के पिछले महीने शेयर बाजारों में लिस्ट होने के बाद यह पहला तिमाही परिणाम है. बजाज हाउसिंग फाइनेंस ने शेयर बाजार को बताया कि समीक्षाधीन तिमाही के दौरान उसकी कुल आय सालाना आधार पर 1,912 करोड़ रुपए से बढ़कर 2,410 करोड़ रुपए हो गई है.
कंपनी ने जारी किया तिमाही रिजल्ट
कंपनी ने सितंबर तिमाही में 2,227 करोड़ रुपए की ब्याज आय दर्ज की, जबकि एक साल पहले इसी अवधि में यह राशि 1,782 करोड़ रुपए थी. हालांकि, कंपनी की संपत्ति गुणवत्ता खराब हुई और एनपीए सितंबर, 2024 के अंत तक कुल लोन के मुकाबले बढ़कर 0.29 प्रतिशत हो गई. यह आंकड़ा एक साल पहले 0.24 प्रतिशत था. इसी तरह शुद्ध एनपीए 0.09 प्रतिशत से बढ़कर 0.12 प्रतिशत हो गया.
बता दें कि कंपनी का शेयर जब बाजार में लिस्ट हुआ था, तब पहले दिन के कारोबार में 70 रुपए के इश्यू प्राइस से करीब 136 प्रतिशत चढ़कर 165 रुपए के भाव पर बंद हुआ. शेयर भाव में जोरदार तेजी आने से कारोबार के अंत में बजाज हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड का मार्केट कैप 1,37,406.09 करोड़ रुपए पर आ गया. इसके साथ ही बजाज हाउसिंग फाइनेंस देश की सबसे बड़ी हाउसिंग फाइनेंस कंपनी बन गई.
ब्लॉकबस्टर था कंपनी का आईपीओ
बजाज हाउसिंग फाइनेंस के 6,560 करोड़ रुपए के आईपीओ को बोली के अंतिम दिन 11 सितंबर को 63.60 गुना सब्सक्रिप्शन मिला था. इश्यू के लिए प्राइस बैंड 66-70 रुपए प्रति शेयर रखा गया था. शेयर सेल्स भारतीय रिजर्व बैंक के नियमों के अनुपालन में की गई थी. इसके मुताबिक, अग्रणी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के लिए सितंबर, 2025 तक शेयर बाजारों में लिस्टिड होना जरूरी है. यह फर्म हाउसिंग और कमर्शियल असेट्स की खरीद और इनोवेशन के लिए फाइनेंस मुहैया कराती है.