Breaking
जान्हवी कपूर या खुशी कपूर, दोनों बहनों में से किसका बॉयफ्रेंड है ज्यादा अमीर? बच्ची की बलि, सीना चीरकर निकाला दिल, बिना कपड़ों में तंत्र पूजा; सिद्धी पाने के लिए कातिल बनी मां देश को आजादी दिलाने में सिर्फ एक पार्टी या एक परिवार नहीं, आदिवासी समाज का भी बड़ा योगदान: PM मोदी दिल्ली में अमित शाह ने किया बिरसा मुंडा की प्रतिमा का अनावरण, वजन 3 हजार kg महाराष्ट्रः औरंगाबाद की 2 सीटों पर जीत को लेकर ऐसे ही कॉन्फिडेंट नहीं हैं ओवैसी, 5 महीने पहले ही मिल... पप्पू यादव को धमकी देने का मामला निकला फर्जी, किसी और को फंसाने के लिए रची साजिश इसके साथ ही जेवर एयरपोर्ट के पहले चरण का संचालन शुरू करने की कवायद तेज हो गई है. जेवर एयरपोर्ट का 39... नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर लैंडिंग टेस्टिंग टली, जानें अब कितना करना पड़ेगा इंतजार? ‘हिंदू विरोधियों के साथ रहे अजित’, मतदान से ठीक पहले क्यों ‘बंट’ गए फडणवीस और पवार? कार्तिक पूर्णिमा पर जाम हो गया पटना, दीघा में गाड़ियों की कतार, सड़क पर रेंगते दिखे वाहन

30 साल से इस गांव में अजीब बीमारी…टेढ़ा हो रहा शरीर, जानें 150 लोगों की कहानी

Whats App

छत्तीसगढ़ के बलरामपुर में एक ऐसा गांव हैं जहां पिछले कई सालों से लोग अजीबोगरीब बीमारी का दंश झेल रहे हैं. लोगों को आज तक इसके पीछे की वजह समझ नहीं आई है. 150 की आबादी वाले इस गांव में 100 से भी ज्यादा लोगों के दांत सड़ कर पीले हो चुके हैं. उनके दांस देख ऐसा लगता है जैसे वो कोई पान मसाला या गुटखा खाते हों. यही नहीं 25 लोग तो ऐसे भी हैं जिन्हें छोटी ही उम्र में झुक कर चलने की बीमारी हो गई है.

हम बात कर रहे हैं रामचंद्रपुर विकासखंड के हड़हीतर गांव की. इस गांव में करीब डेढ़ सौ से अधिक लोग रहते हैं लेकिन लंबे समय से एक बीमारी से ग्रसित हैं. यहां रहने वाले 100 से भी ज्यादा युवा, बच्चे और बूढ़े लोगों के दांत सड़ चुके हैं. कारण है यहां का पानी. अब यह आंकड़ा और भी ज्यादा बढ़ने लगा है. जिस कारण लोगों को खाने-पीने में भी दिक्कत होने लगी है.

Whats App

बात यहीं तक सीमित नहीं है. इसी गांव में रहने वाले 25 से अधिक लोग कमर की समस्या से भी परेशान हैं. वो सिर्फ झुककर ही चल पाते हैं. किसी बुजुर्ग को यह दिक्कत होती तो समझा भी जाता. क्योंकि बढ़ती उम्र के साथ ऐसी दिक्कतें हो ही जाती हैं. लेकिन ये बीमारी तो उन्हें लगी है जिनकी उम्र 35 से 40 साल के भीतर है. लोगों को समझ नहीं आ रहा हैं कि आखिर यह समस्या हो क्यों रही है.

यहां के रहने वाले लोगों ने बताया की यह समस्या पिछले 30 साल से बना हुई है. लोग इस समस्या से इतने हताश और परेशान हो गए हैं कि अब अपनी परेशानी को किसी से बताना भी मुनासिब नहीं समझते. लोगों ने डॉक्टरों को भी दिखाया. लेकिन ये बीमारी ठीक न हो पाई. यहा रहने वाले लोगों के पास इतना पैसा भी नहीं है कि बाहर किसी बड़े डॉक्टर से वो अपना इलाज करवा सकें.

ग्रामीणों ने बताया की बच्चे जन्म लेते हैं, तब 5 साल तक तो उनके दांत ठीक रहते हैं. बाद में धीरे-धीरे दांत पीले होने लगते हैं. आगे चलकर दांत फिर सड़ जाते हैं. लोगों का कहना है कि उनके गांव में पानी की समस्या है. इस कारण वो बोरवेल का पानी पीने पर मजबूर हैं. बोलरवेल का पानी इतना खराब होता है कि अगर रात को उसे एक बर्तन में डालकर रखें तो सुबह तक वो बर्तन पीला पड़ जाता है. शायद इसी वजह से उनके दांत भी खराब हो रहे हैं.

प्रशासन नहीं लेता सुध

हड़हीतर गांव गांव के लोगों के साथ इतने दिनों से यह समस्या बनी हुई है. परंतु स्वास्थ्य विभाग हो या फिर पीएचई विभाग, कोई भी इस गांव की सुध नहीं लेता. न ही इस समस्या का समाधान निकाला जा रहा है. आज तक दोनों विभागों का एक भी कर्मचारी इस गांव तक नहीं पहुंचा, जो लोगों की समस्या को समझे.

CMHO का इस पर बयान

हालांकि, मामला सामने आने के बाद अब जिले के सीएमएचओ ने बयान देते हुए कहा कि कुछ जगहों पर दांत से संबंधित फ्लोरोसिस बीमारी की शिकायत है. जिसके लिए स्वास्थ्य विभाग के द्वारा कैंप एवं शिविर के माध्यम से डेंटल चिकित्सा के द्वारा इलाज कराई जाती है. बावजूद इसके इस गांव में अगर दांत खराब होने की समस्या है तो जल्द यहां शिविर लगाया जाएगा और उनका इलाज किया जाएगा. उन्होंने अभी बताया कि वहां का पानी खराब है, जिसमें फ्लोराइड की मात्रा अधिक है. पानी की जांच हमेशा होते रहनी चाहिए. लोगों को पानी गर्म करके पीना चाहिए.

अधिकारी ने मिलने से इनकार किया

वहीं जिले के सीएमओ का मानना है कि पानी में पोलाइट की मात्रा अधिक है, जिसकी जांच होनी चाहिए. एक तरफ लोग को पानी की वजह से यह बीमारी सामने आ रही है तो वहीं पीएचई विभाग को इस बात की दूर-दूर तक कोई भनक नहीं है. जब TV9 भारतवर्ष उनका पक्ष जानने के लिए पीएचई ईई जिला कार्यालय पहुंचा तो उन्होंने मिलने से इनकार कर दिया.

जान्हवी कपूर या खुशी कपूर, दोनों बहनों में से किसका बॉयफ्रेंड है ज्यादा अमीर?     |     बच्ची की बलि, सीना चीरकर निकाला दिल, बिना कपड़ों में तंत्र पूजा; सिद्धी पाने के लिए कातिल बनी मां     |     देश को आजादी दिलाने में सिर्फ एक पार्टी या एक परिवार नहीं, आदिवासी समाज का भी बड़ा योगदान: PM मोदी     |     दिल्ली में अमित शाह ने किया बिरसा मुंडा की प्रतिमा का अनावरण, वजन 3 हजार kg     |     महाराष्ट्रः औरंगाबाद की 2 सीटों पर जीत को लेकर ऐसे ही कॉन्फिडेंट नहीं हैं ओवैसी, 5 महीने पहले ही मिल गए थे संकेत     |     पप्पू यादव को धमकी देने का मामला निकला फर्जी, किसी और को फंसाने के लिए रची साजिश     |     इसके साथ ही जेवर एयरपोर्ट के पहले चरण का संचालन शुरू करने की कवायद तेज हो गई है. जेवर एयरपोर्ट का 3900 मीटर लंबा रनवे तैयार है. जेवर एयरपोर्ट का एक टर्मिनल बिल्डिंग और एटीसी टावर लगभग तैयार हो गया है. जेवर एयरपोर्ट पर पिछले दिनों कई विमान रनवे के ऊपर से होते हुए गुजरे भी हैं. टर्मिनल फिनिशिंग का चल रहा है काम जेवर एयरपोर्ट के टर्मिनल बिल्डिंग में फिनिशिंग का काम चल रहा है. जेवर एयरपोर्ट पर घने कोहरे विमानों को लैंड कराने के लिए तैयारी की जा रही है. जेवर एयरपोर्ट पर कैट एक और कैट तीन उपकरण स्थापित हो चुके हैं. जो कोहरे में विमान की ऊंचाई और दृश्यता की जानकारी देते हैं. इस एयरपोर्ट पर टिकट की बुकिंग फरवरी 2025 से शुरू हो जाएगी. इस एयरपोर्ट पर संचालन का काम भी 2025 से ही शुरू होगा.     |     नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर लैंडिंग टेस्टिंग टली, जानें अब कितना करना पड़ेगा इंतजार?     |     ‘हिंदू विरोधियों के साथ रहे अजित’, मतदान से ठीक पहले क्यों ‘बंट’ गए फडणवीस और पवार?     |     कार्तिक पूर्णिमा पर जाम हो गया पटना, दीघा में गाड़ियों की कतार, सड़क पर रेंगते दिखे वाहन     |