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पहली बार खुद की पार्टी से मैदान में ‘राजा भैया’, 6 बार से लगातार जीत रहे…क्या इस बार ‘राज’ रहेगा बरकरार?

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प्रतापगढ़: पूर्वांचल की राजनीति में अलग रसूख रखने वाले रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया यूपी की सियासत में एक बेहद प्रभावशाली नाम है। प्रतापगढ़ के कुंडा से 1993 से अभी तक लगातार 6 बार विधानसभा चुनाव जीत चुके हैं। कुंडा विधानसभा सीट इस बार भी हॉट सीट मानी जा रही है। राजा भैया के सामने किसी भी पार्टी की दाल नहीं गल सकी। इस बार प्रतापगढ़ के कुंडा से निर्दलीय विधायक रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया भी अपनी पार्टी जनसत्ता दल के साथ मैदान में हैं।

2017 के विधानसभा चुनाव में राजा भैया ने अपने सभी रिकार्ड को खुद तोड़ते हुए एक लाख तीन हजार के बंपर वोटों से जीत दर्ज किया था। वहीं राजा भैया को सबसे कम मतों से जीत 2007 के विधानसभा चुनाव में मिली थी। राजा भैया सिर्फ 53 हजार मतों से जीतने में कामयाब रहे। आज तक उनके जीत का ग्राफ कभी भी 53 हजार वोटों के नीचे नहीं खिसका है।

कुंडा सीट पर 2017 के नतीजे:-
निर्दलीय रघुराज प्रताप सिंह को करीब 68% वोट
राजा भैया को 1 लाख 36 हजार से वोट
बीजेपी से जानकी शरण को 33 हजार वोट मिले
बीएसपी के परवेज अख्तर को 17 हजार वोट मिले थे
करीब चार हजार लोगों ने नोटा दबाया था

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राजा भैया ने पहली बार 1993 में कुंडा विधानसभासे निर्दल चुनाव लड़ा। उसके बाद वह लगातार जीतते ही गए। समाजवादी पार्टी (सपा), भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) या कांग्रेस, कोई भी दल राजा भैया के अभेद्य किले कुंडा में सेंध नहीं लगा सका।

राजा भैया के जीत का अंतर:-
वर्ष: 1993- राजा भैया- 89473 वोट, ताहिर हसन सपा- 22186, जीत-67287
वर्ष: 1996 राजा भैया- 98700 वोट, शिवनारायण मिश्र बीजेपी- 17959, जीत- 80141
वर्ष: 2002 राजा भैया- 88446 वोट, मो शमी सपा- 6768, जीत- 81670
वर्ष: 2007 राजा भैया- 73732शिव प्रकाश सेनानी बसपा- 20604, जीत- 53128
वर्ष: 2012 राजा भैया- 1,11,392, शिव प्रकाश सेनानी बसपा- 23137, जीत- 88255
वर्ष: 2017 राजा भैया- 1,36,596, जानकी शरण भाजपा- 32950, जीत- 103646

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